मथुरा। उत्तर प्रदेश में मथुरा जिले में यमुना ने रौद्र रूप रख लिया है पानी खतरे के निशान तक पहुंच रहा है। बतादें कि गोकुल बैराज के 21 गेट खोल दिये गए हैं। उत्तर प्रदेश के मथुरा जिले में लगातार यमुना का पानी खतरे के निशान की ओर बढ़ रहा है। ऐसे में गोकुल बैराज के 22 गेट खोल दिए गए हैं।
बता दें कि 82 हजार क्यूसेक पानी लगातार गोकुल बैराज से आगरा की ओर डिस्चार्ज किया जा रहा। वहीं मुथरा में यमुना नदी का विश्राम घाट पूरी तरह से डूब चुका है। इसके अलावा मथुरा में यमुना हथिनी कुंड और ओखला बैराज से छोड़े गए लाखों क्यूसेक पानी खतरे के निशान से ऊपर बह रहा है।
यमुना नदी के आस—पास में रहने वाले लोगों को अब डर लगने लगा है। सूत्रों के माने तो यहां यमुना में पानी का स्तर तीन दिनों तक लगातार बढ़ने के आसार है। एडीएम वित्त एवं राजस्व पंकज कुमार ने बताया कि यमुना में लगातार जल को वृद्धि को देखते हुए यमुना किनारे रहने वाले लोगों को पशुओं के साथ शिफ्ट होने के लिए चेतावनी दे दी गई है।
एडीएम ने बताया कि यमुना में बढ़ते जलस्तर के हालातों को देखते हुए शेल्टर होम बनाए गए हैं। यहां लोगों के रहने के लिए और खाने पीने की व्यवस्था की जा रही है। मथुरा के एडीएम वित्त एवं राजस्व पंकज कुमार ने बताया की पानी दिल्ली से छोड़ा जा रहा है। जिससे जल स्तर बढ़ रहा है।
वहीं जे ई गोकुल बैराज सत्येंद्र सिंह ने कहा कि ‘यमुना के बढ़ते जलस्तर को देखते हुए जिला प्रशासन अलर्ट मोड पर है और लगातार दिल्ली और पीछे से छोड़े गए पानी को नजर बनाए हुए हैं।
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