नई दिल्ली, 6 फरवरी 2025 – भारतीय किकबॉक्सर सुधीर सक्सेना ने 4वीं इंडिया ओपन किकबॉक्सिंग चैंपियनशिप में सिल्वर मेडल जीतकर भारत का नाम रोशन किया। यह प्रतिष्ठित प्रतियोगिता 1 फरवरी से 5 फरवरी 2025 तक नई दिल्ली में आयोजित की गई थी, जिसमें देशभर के सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ियों ने भाग लिया। 94 किग्रा भार वर्ग में प्रतिस्पर्धा करते हुए, सुधीर ने अपनी कड़ी मेहनत, प्रतिबद्धता और खेल कौशल का अद्भुत प्रदर्शन किया और सिल्वर मेडल अपने नाम किया।
सुधीर सक्सेना की शानदार प्रतिस्पर्धा
इंडिया ओपन किकबॉक्सिंग चैंपियनशिप अपने उच्च स्तरीय मुकाबलों और प्रतिभाशाली खिलाड़ियों के लिए जानी जाती है। इस साल भी प्रतियोगिता बेहद प्रतिस्पर्धी रही, जिसमें सुधीर ने अपनी शानदार तकनीक और ताकत का प्रदर्शन किया।
प्रारंभिक मुकाबलों में, सुधीर ने आक्रामक रणनीति, ताकतवर किक्स और बेहतरीन डिफेंस का इस्तेमाल करते हुए अपने प्रतिद्वंद्वियों को मात दी। फाइनल मुकाबला बेहद रोमांचक रहा, जहां सुधीर ने अपने विरोधी को कड़ी टक्कर दी। हालांकि, वह मामूली अंतर से गोल्ड जीतने से चूक गए और सिल्वर मेडल अपने नाम किया।
जीत के बाद सुधीर ने कहा, “यह सिल्वर मेडल मेरे लिए गर्व की बात है, लेकिन मेरा लक्ष्य हमेशा गोल्ड जीतना रहेगा। हर मुकाबला मुझे और मजबूत बनाता है, और मैं अगली बार और बेहतर प्रदर्शन करूंगा।”
सफलता के पीछे परिवार और शुभचिंतकों का योगदान
सुधीर सक्सेना की इस सफलता में उनके परिवार, दोस्तों और शुभचिंतकों का बहुत बड़ा योगदान रहा है। उन्होंने अपने पिता, श्री सुरेश सक्सेना को अपनी प्रेरणा का स्रोत बताया, जिन्होंने हमेशा उन्हें अपने सपनों को पूरा करने के लिए प्रोत्साहित किया। उनकी पत्नी, प्रियंका गौतम ने हर मुश्किल घड़ी में उनका साथ दिया और मानसिक एवं भावनात्मक रूप से मजबूत बनाए रखा।
इसके अलावा, गौरवी फाउंडेशन, जिसके संस्थापक महेश वर्मा और सुमित चौधरी हैं, ने सुधीर को उनके प्रशिक्षण और आवश्यक संसाधनों में मदद प्रदान की। साथ ही, पंजाब नेशनल बैंक (PNB) ने भी सुधीर की प्रतिभा को पहचाना और उनके सफर में महत्वपूर्ण सहयोग दिया। PNB के एमडी और सीईओ श्री अशोक चंद्र, एजीएम श्री अवधेश तिवारी, और अन्य शुभचिंतकों ने सुधीर को हमेशा समर्थन और प्रोत्साहन दिया, जिससे उन्हें इस उपलब्धि को हासिल करने में सहायता मिली।
सुधीर ने अपने सहयोगियों का आभार व्यक्त करते हुए कहा, “मेरी यह सफलता अकेले मेरी नहीं है। यह मेरे परिवार, दोस्तों, गौरवी फाउंडेशन और पंजाब नेशनल बैंक जैसे संगठनों की वजह से संभव हुई है, जिन्होंने हर कदम पर मेरा समर्थन किया है।”
युवाओं के लिए प्रेरणा बने सुधीर सक्सेना
सुधीर सक्सेना की यह उपलब्धि न केवल उनके लिए, बल्कि भारत के युवा खिलाड़ियों के लिए भी प्रेरणादायक है। उनका सफर यह साबित करता है कि अगर मेहनत, समर्पण और सही मार्गदर्शन मिले, तो कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं है।
सुधीर न केवल एक प्रतिभाशाली खिलाड़ी हैं, बल्कि समाज सेवा और परोपकार में भी सक्रिय रूप से जुड़े हुए हैं। वे गौरवी फाउंडेशन और कई अन्य गैर-सरकारी संगठनों (NGO) के साथ मिलकर समाज के वंचित वर्गों की सहायता कर रहे हैं। उनकी सोच केवल अपनी व्यक्तिगत सफलता तक सीमित नहीं है, बल्कि वे देश और समाज के विकास में भी योगदान देना चाहते हैं।
आगे की राह: अब लक्ष्य है गोल्ड मेडल
इस सिल्वर मेडल के साथ सुधीर की यात्रा यहीं समाप्त नहीं होती। उनका अगला लक्ष्य एशियन किकबॉक्सिंग चैंपियनशिप और वर्ल्ड किकबॉक्सिंग चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीतना है। वे अपने प्रशिक्षण को और कड़ा करने और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत का नाम रोशन करने के लिए पूरी तरह समर्पित हैं।
“हर प्रतियोगिता एक नया सबक देती है। मैं और मेहनत करूंगा और आने वाले टूर्नामेंट्स में भारत के लिए गोल्ड मेडल जीतने का सपना पूरा करूंगा,” सुधीर ने संकल्प लिया।
राष्ट्रीय गर्व का क्षण
भारत में खेलों का स्तर लगातार ऊँचा उठ रहा है, और सुधीर सक्सेना जैसे खिलाड़ी देश को वैश्विक मंच पर गौरवान्वित कर रहे हैं। उनकी इस सफलता ने यह साबित कर दिया कि मेहनत और समर्पण के बल पर कोई भी लक्ष्य हासिल किया जा सकता है।
सुधीर की इस जीत पर पूरे देश को गर्व है, और पूरा देश अब उनकी अगली बड़ी जीत का इंतजार कर रहा है।
बधाई हो, सुधीर सक्सेना! आपका भविष्य उज्ज्वल है!
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