मोदी सरकार ने संसद में श्वेत पत्र नहीं, सफेद झूठ पेश किया: जयराम रमेश

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संसद के बजट सत्र में केंद्र सरकार ने अपनी आर्थिक नीतियों, राजस्व और राजकोष की स्थिति स्पष्ट करने के लिए ‘श्वेत पत्र’ पेश किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार का दावा है कि आने वाले कुछ वर्षों में भारत पूरी दुनिया में तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनकर उभरेगी। हालांकि, पीएम मोदी की नीतियों के साथ-साथ वित्त मंत्री को अक्सर कठघरे में खड़ा करने वाली कांग्रेस पार्टी ने इस बार श्वेत पत्र को लेकर तीखा हमला बोला।

कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश के मुताबिक मोदी सरकार ने संसद में श्वेत पत्र नहीं, सफेद झूठ पेश किया है। उन्होंने कहा कि पीएम मोदी की आर्थिक नीतियों के कारण देश की अर्थव्यवस्था रसातल में चली जा रही है।

संसद में श्वेत पत्र नहीं, सफेद झूठ पेश किया गया

जयराम रमेश ने पूर्वोत्तर भारत की स्थिति पर सवाल किया और कहा, सरकार को बेरोजगारी, नोटबंदी, सीमावर्ती इलाकों में तनाव और मणिपुर  में हुई हिंसा पर दस्तावेज पेश करने चाहिए। उन्होंने कहा कि बजट सत्र 2024 में पेश किया गया श्वेत पत्र वास्तविकता से कोसों दूर है। उन्होंने कहा कि यह सफेद झूठ पत्र है।

UPA सरकार के कार्यकाल में अंधाधुंध खर्च, थम गई अर्थव्यवस्था

बता दें कि केंद्र सरकार ने संसद में पेश श्वेत पत्र के माध्यम से पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के नेतृत्व वाली संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (UPA) सरकार की 10 साल की नीतियों की मुखर आलोचना की है।

श्वेत पत्र में मोदी सरकार ने कहा, 2014 के पहले 10 साल तक रह UPA सरकार ने अंधाधुंध राजस्व व्यय किया।

भाजपा के मुताबिक यूपीए सरकार ने बजट से अधिक खर्च करने के लिए जमकर उधार भी लिए। बैंकों को लोन न चुकाने के मामले बढ़ते गए और इन कारणों से भारतीय अर्थव्यवस्था की रफ्तार थम गई।

-एजेंसी

Dr. Bhanu Pratap Singh