आगरा। जब देश की सीमाओं पर जवान हर मौसम, हर मुश्किल में डटे रहते हैं, तब दिल से निकला एक सलाम भी उनके हौसले को नई ऊंचाई देता है। कुछ ऐसा ही जज़्बा दिखाया आगरा की महिलाओं ने हंसी, तिरंगे और तालियों के बीच। स्पाइसी शुगर संस्था ने एक होटल में ‘देश की सेना को सलाम’ शीर्षक से एक खास आयोजन किया, जिसमें वीर सैनिकों को समर्पित भावनाएं भी थीं और माहौल को हल्का करने वाली शानदार कॉमेडी भी।
कार्यक्रम की शुरुआत तिरंगा फहराने और दीप प्रज्वलन से हुई, जिसमें मुख्य अतिथि डॉ. रंजना बंसल और स्पाइसी शुगर की संस्थापक अध्यक्ष पूनम सचदेवा ने भाग लिया। पूनम सचदेवा की देशभक्ति से ओतप्रोत कविता ने माहौल को संजीदा बना दिया।
इसके बाद मंच पर आए जाने-माने स्टैंड-अप कॉमेडियन अंगद सिंह रानयाल, जिन्होंने सैनिकों के साहस को सम्मान देते हुए अपने चुटीले अंदाज़ से ऐसा माहौल बना दिया कि हर चेहरा मुस्कुरा उठा। मंच पर आते ही उन्होंने कहा कि सेना के जवानों के पास एक खास तरह की हिम्मत होती है और हम दिल्ली वालों के पास ट्रैफिक में फंसे रहने की। इसके साथ ही पत्नी से बहस करना और बॉर्डर पर जाना, फर्क बस वर्दी का है, जैसे उनके पंचों पर जमकर तालियां बजीं।
उन्होंने दांपत्य जीवन, सोशल मीडिया और यहां तक कि एफिल टॊवर जैसे अंतर्राष्ट्रीय प्रतीकों पर भी व्यंग्य किए। उन्होंने कहा कि तनावमुक्त जीवन का सबसे सरल मंत्र है हर बात में हंसी ढूंढना। अगर आप खुद पर हंस सकते हैं तो दुनिया आपको हरा नहीं सकती। उन्होंने आधुनिक सामाजिक बदलावों पर भी व्यंग्य किया, जैसे “डबल इनकम नो किड्स” की प्रवृत्ति, और हर पंच के पीछे एक गहरी सोच भी छिपी थी।
इस भावनात्मक और हास्य से भरपूर आयोजन में आगरा की कई समाजसेवी महिलाएं, सदस्याएं और शहर की प्रमुख हस्तियां शामिल रहीं। आयोजन को चांदनी ग्रोवर, पावनी सचदेवा, शिखा जैन, सिमरन अवतानी आदि ने संयोजित किया।
इस अवसर पर आस्था, आभा, अलका, अंजलि, अंकिता, बानी, डोली, गरिमा, गिन्नी, हरवानी, हरमीत, जसलीन, ज्योति, कविता, कोमिला, संगीता, मंजू, माला, मिनी, नीरू, पल्लवी, रेनू, पूजा, रश्मि, प्रीति, रिचा, श्वेता, स्नेहा, वर्षा, यामिनी, सोनाली आदि उपस्थित रहीं।
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