डीएम कार्यालय पहुंचा नयति हॉस्पीटल का स्टाफ, सैलरी नहीं देने, धमकाने का आरोप

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Mathura (Uttar Pradesh, India) मथुरा नयति हॉस्पीटल के कर्मचारी पहली बार अपनी समस्याओं को लेकर जिलाधिकारी तक पहुंचे। लॉकडाउन के बाद से ही सेलरी को लेकर नयति एडमिनिस्ट्रेशन और कर्मचारियों के बीच विवाद की स्थिति है। नयति हॉस्पीटल में कई बार कर्मचारी सेलरी को लेकर प्रदर्शन कर चुके हैं।

नयति हॉस्पीटल डेढ साल से नियमित सेलरी नहीं दे रहा है, स्थिति और खराब हो गई है

पहली बार बडी संख्या में नयति हॉस्पीटल का स्टाफ कलक्ट्रेट पहुंचा और नयति प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाये। शनिवार को 70 कर्मचारी जिलाधिकारी कार्यालय पहुंचे। कर्मचारियों का आरोप था कि उन्हें सेलरी नहीं दी जा रही है। जब वह सेलरी मांगते हैं तो नौकरी छोड कर चले जाने को कह दिया जाता है। जिलाधिकारी कार्यालय पर पहुंचे स्टाफ में शामिल दान्या ने कहाकि नयति हॉस्पीटल डेढ साल से नियमित सेलरी नहीं दे रहा है। अब स्थिति और खराब हो गई है। पहले दो महीने का वेतन छोड कर आ रही थी। अब सात महीने का बकाया हो गया है। अगर हम कहते है तो निकालने की धमकी दी जाती है। सेलरी पूछने पर बोलते हैं कि छोडकर जा सकते हैं, हमारे पास पैसा नहीं है। स्टाफ श्रीकांत ने कहाकि सभी की एक ही परेशानी है। छह महीने से सेलरी नहीं दिया है। सेलरी के बारे में पूछने पर कहा जाता है कि आप यहां से जा सकते हैं। बीस लोगों की लिस्ट जा चुकी है उन्हें बाहर किया जा रहा है।

नयति प्रशासन से उलझ नहीं सकते , वह ताकतवर हैं बस हमारा हिसाब कर दिया जाए

धीरे-धीरे करके हम सब का नम्बर आएगा। स्टाफ का कहना था कि उन्होंने कोविड काल में मरीजों की सेवा पूरी लगन से की थी। इसका यह परिणाम निकल रहा है। हमें तरह-तरह के आरोप लगा कर निकाला जा रहा है। हम चाहते हैं कि हमारा हिसाब कर दिया जाए तो हम खुद ही चले जाएंगे। हम किसी भी तरह से नयति प्रशासन से उलझ नहीं सकते। वह ताकतवर हैं बस हमारा हिसाब कर दिया जाए।

Dr. Bhanu Pratap Singh