भीषण चक्रवाती तूफान में बदला ‘असानी’, कई इलाकों में भारी बारिश का एलर्ट

भीषण चक्रवाती तूफान में बदला ‘असानी’, कई इलाकों में भारी बारिश का एलर्ट

NATIONAL


एक तरफ उत्‍तर-मध्‍य भारत भीषण गर्मी की चपेट में है तो दक्षिण-पूर्वी भारत पर चक्रवात का खतरा मंडरा रहा है। मौसम विभाग ने दिल्‍ली, हरियाणा, राजस्‍थान, मध्‍य प्रदेश, महाराष्‍ट्र और गुजरात के कई हिस्‍सों में लू चलने का अलर्ट जारी किया है। उत्‍तर पश्चिम भारत को इस हफ्ते लू से राहत मिलने के आसार नहीं हैं। उधर, अंडमान सागर और बंगाल की खाड़ी के ऊपर बना चक्रवात ‘असानी’ अब भीषण चक्रवाती तूफान में बदल चुका है। रविवार रात तक यह उत्तर आंध्र प्रदेश-ओडिशा तटों की ओर बढ़ गया था। भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने कहा है कि यह चक्रवात पूर्वी तट के समानांतर चलेगा। ‘असानी’ के चलते आंध्र प्रदेश, ओडिशा, पश्चिम बंगाल, झारखंड और आसपास के इलाकों में भारी बारिश और तेज हवाएं चलने का अलर्ट जारी किया है। रेस्‍क्‍यू फोर्सेज भी अलर्ट पर हैं।
अभी कहां हैं साइक्‍लोन ‘असानी’?
IMD ने सोमवार सुबह मानचित्र जारी कर चक्रवात ‘असानी’ के रूट पर अपडेट दिया है। इसके मुताबिक पिछले 6 घंटों से यह 25 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से आगे बढ़ रहा है। 10 मई तक इसके उत्‍तर पश्चिम दिशा में आगे बढ़ने का अनुमान है। फिर यह पश्चिमी तट और उससे सटे उत्‍तर-पश्चिम बंगाल की खाड़ी में पहुंचेगा।
दो दिन में ‘भयानक चक्रवाती तूफान’ में बदल जाएगा असानी
मौसम विभाग ने ‘असानी’ को लेकर अपने पूर्वानुमान में कहा कि इसके बुधवार को भयानक चक्रवाती तूफान में बदलने और गुरुवार तक गहरे दबाव में बदलने की संभावना है। IMD के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने कहा कि चक्रवात मंगलवार शाम से बारिश होने का कारण बनेगा।
असानी’ साइक्‍लोन का रूट क्‍या होगा, असर क्‍या रहेगा?
IMD बुलेटिन के अनुसार, ‘असानी’ के 10 मई की रात तक उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ने और उत्तर आंध्र प्रदेश और ओडिशा तटों से पश्चिम मध्य और उससे सटे उत्तर-पश्चिम बंगाल की खाड़ी तक पहुंचने की संभावना है। इसके बाद इसके उत्तर-उत्तर-पूर्व की ओर मुड़ने और ओडिशा तट से दूर बंगाल की उत्तर-पश्चिमी खाड़ी की ओर बढ़ने की संभावना है।
10 मई की शाम से तटीय ओडिशा और उत्तरी तटीय आंध्र प्रदेश के आसपास के क्षेत्रों में अलग-अलग स्थानों पर भारी वर्षा के साथ कुछ स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा होने की संभावना है। अगले दिन, तटीय ओडिशा और उत्तरी आंध्र प्रदेश और पश्चिम बंगाल के तटीय क्षेत्रों में कुछ स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा के साथ अलग-अलग स्थानों पर भारी वर्षा होने की संभावना है। इसके 12 मई तक जारी रहने की संभावना है।
90-100 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से 110 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली आंधी हवा की गति दक्षिण-पूर्व और इससे सटे मध्य बंगाल की खाड़ी में प्रबल होने की संभावना है और यह धीरे-धीरे 95-105 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़कर 115 किमी प्रति घंटे हो जाएगी।
10 और 11 मई को उत्तरी आंध्र प्रदेश तट के साथ और उसके बाहर तेज हवा की गति 40-50 किमी प्रति घंटे से 60 किमी प्रति घंटे तक पहुंचने की संभावना है।
तटवर्ती राज्‍यों में क्‍या हैं इंतजाम?
ओडिशा के विशेष राहत आयुक्त (SRC) पीके जेना ने कहा कि राज्य सरकार ने बचाव अभियान के लिए पर्याप्त व्यवस्था की है। उन्होंने कहा, ‘हमें राज्य में कोई बड़ा खतरा दिखाई नहीं दे रहा है, क्योंकि यह (असानी) पुरी के पास तट से करीब 100 किलोमीटर दूर से गुजर जाएगा। राष्ट्रीय आपदा प्रक्रिया बल (NDRF), ओडिशा आपदा त्वरित कार्रवाई बल (ODRF) और दमकल की टीमें किसी भी स्थिति से निपटने के लिए तैयार हैं।
बालासोर में एनडीआरएफ के एक दल को तैनात किया गया है। ओडीआरएएफ के एक दल को गंजम जिले में भेजा गया है।
ओडीआरएएफ की टीमें पुरी जिले के कृष्ण प्रसाद, सतपाड़ा, पुरी और अस्टारंग ब्लॉक और केंद्रपाड़ा के जगतसिंहपुर, महाकल्पपाड़ा और राजनगर और भद्रक में भी तैयार हैं।
जेना ने कहा कि सभी जिलों को अलर्ट पर रखा गया है। जिला अधिकारियों को स्थानीय स्थिति को ध्यान में रखते हुए लोगों की सुरक्षित निकासी का अधिकार सौंपा गया है।
पश्चिम बंगाल
मौसम विभाग ने कहा कि मंगलवार से शुक्रवार तक गंगीय पश्चिम बंगाल में हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना है। कोलकाता के तटीय जिलों में एक या दो स्थानों पर भारी बारिश हो सकती है। मई 2020 में अम्फान चक्रवात से सबक लेते हुए, नगर निगम प्रशासन गिरे हुए पेड़ों और अन्य मलबे के कारण होने वाली रुकावटों को दूर करने के लिए क्रेन, विद्युत आरी और बुल्डोजर (अर्थमूवर) को सतर्क रखने जैसे सभी उपाय कर रहा है।
कोलकाता सरकार के एक अधिकारी ने कहा कि पूर्व मेदिनीपुर, दक्षिण 24 परगना और उत्तर 24 परगना के प्रशासन सूखे भोजन और आवश्यक दवाओं की व्यवस्था के अलावा, निकासी की जरूरत होने पर चक्रवात आश्रयों, स्कूलों और अन्य पक्के ढांचे को तैयार कर रहे हैं। मौसम विभाग ने मछुआरों को सलाह दी है कि वे मंगलवार से अगली सूचना तक समुद्र और पश्चिम बंगाल और ओडिशा के तटों पर न जाएं।
-एजेंसियां

Dr. Bhanu Pratap Singh