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भगवान महावीर का ज्ञान आगम में उपलब्धः वैराग्य निधि महाराज

RELIGION/ CULTURE

जैन दादाबाड़ी में सिर पर धारण कर लाए गए शास्त्र

29 अक्टूबर को ज्ञान पंचमी पर 25 आगम का महापूजन

Agra, Uttar Pradesh, India. परमविदुषी साध्वी वैराग्य निधि महाराज ने कहा है कि भगवान महावीर ने साढ़े बारह वर्ष तक अनेक कठिनाइयों, उपसर्ग आदि को समता से साधा और संपूर्ण ज्ञान, केवल ज्ञान प्राप्त किया। प्रभु का ज्ञान आज तक आगम शास्त्र के रूप में हमारे पास उपलब्ध है। यह अमृतरूप में हमें अमरता की ओर ले जाता है। शुक्रवार को आगम शास्त्र का पूजन किया गया।

 

इससे पूर्व आज प्रातः जैन मंदिर दादाबाड़ी के मुख्य द्वार से 45 आगम (शास्त्र) साध्वी श्री वैराग्य निधि जी महाराज साहब ठाणा- 3 की निश्रा में श्रावक-श्राविका सिर पर धारण कर कलिकुंड पार्श्वनाथ परमात्मा 24 जिनालय पहुंचे। इस दौरान परमात्मा की जय-जयकार होती रही। श्रद्धा और भक्ति का अद्भुत संगम देखने को मिला।

 

साध्वी श्री वैराग्य निधि जी महाराज साहब ने 11 आगम के महत्व को समझाते हुए श्रावक श्राविका से महापूजन मंत्रोच्चार और भजन के माध्यम से कराया। कार्यक्रम में अंकित पाटनी, निशांत वैद का महत्वपूर्ण योगदान रहा। मंदिर जी की सजावट एवं रंगोली राजेंद्र सूरी महिला मंडल एवं जैन श्वेतांबर महिला मंडल की सदस्यों ने की।

 

श्वेताम्बर मूर्तिपूजक श्री संघ के अध्यक्ष राजकुमार जैन ने बताया 29 अक्टूबर, 2022 को ज्ञान पंचमी है, जो ज्ञान की आराधना का मुख्य पर्व है। प्रातः 9:00 बजे से शेष 25 आगम का महापूजन साध्वी श्री वैराग्य निधि जी महाराज साहब की निश्रा में कराया जाएगा।

 

आज के महापूजन का मुख्य लाभ शिल्पा लोढ़ा ने लिया। अन्य लाभार्थियों में विपिन जैन, दुष्यंत लोढ़ा, रवि लोखड़, उत्तमचंद, पारस चौरड़िया, संजय चौरड़िया, महेंद्र कोचर, भावेश वुरड़, ललित वागचर, सुनील वैद, चंदा, आयुष ललवानी, उषा वैद, शालू जैन, बबीता लोढ़ा, संगीता सकलेचा, रेणुका सिंघल, ममता जैन, कविता, स्वाति जैन, पूर्वा जैन की उपस्थिति उल्लेखनीय रही।

 

Dr. Bhanu Pratap Singh