SP singh baghel agra

SP Singh Baghel की नाराजगी पड़ी भारी, SSP का तबादला, सर्किट हाउस में दिखाया था रौद्ररूप, अभद्रता पर एडीएम का भी ट्रांसफर करवाया था

Crime NATIONAL POLITICS PRESS RELEASE REGIONAL

Agra, Uttar Pradesh, India. भारतीय जनता पार्टी के आगरा से सांसद और केन्द्रीय विधि एवं न्याय राज्यमंत्री प्रो. एसपी सिंह बघेल की पुलिस के प्रति नाराजगी एसएसपी को भारी पड़ गई। इसी कारण मुनिराज जी को वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) आगरा के पद से हटा दिया गया। पूर्व में उपाध्याय प्रकरण को लेकर सर्किट हाउस में एसएसपी को सरेआम खरी-खोटी सुना चुके हैं। इसका वीडियो भी वायरल हुआ था। इससे पहले वे अपर जिलाधिकारी (आतिथ्य) को हटवा चुके हैं। एडीएम ने भाजपा के महानगर अध्यक्ष भानु महाजन से अभद्रता की थी।

घटना-1

जगदीशपुरा थाने के मालखाने से 25 लाख रुपये चोरी हो जाने के शक में पुलिस ने पुल छिंगामोदी, लोहामंडी निवासी अरुण वाल्मीकि के पूरे परिवार को उठा लिया था। अवैध रूप से हिरासत में रखकर यातनाएं दीं। इतनी यातनाएं दीं कि अरुण वाल्मीकि की मौत हो गई। इस मामले में एसएसपी ने छह पुलिस वालों को निलंबित करके उनके खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 10 लाख रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की। परिवार के एक व्यक्ति को सरकारी नौकरी का वादा किया है। तमाम भाजपा नेता इस प्रकरण को रफा-दफा करने में लगे रहे क्योंकि समाजवादी पार्टी, कांग्रेस, आम आदमी पार्टी आदि दलों के नेता राजनीति कर रहे थे। दो दिन पहले केन्द्रीय राज्यमंत्री प्रो. एसपी सिंह बघेल अरुण वाल्मीकि के घर पर गए और पुलिस के प्रति नाराजगी प्रकट की। इसके दो दिन बाद ही एसएसपी मुनिराज जी का ट्रांसफर हो गया। उनके अलावा किसी अन्य नेता ने पुलिस के प्रति नाराजगी प्रकट नहीं की थी। एक तरह से मामले को शांत कराकर पुलिस की मदद ही कर रहे थे। विपक्षी दलों के नेता भी योगी सरकार को आरोपित कर रहे थे।

सर्किट हाउस का फाइल फोटो- पीड़ित परिवार से बात करते एसपी सिंह बघेल।

घटना-2

अप्रैल, 2021 में लॉकडाउन के दौरान फाउंड्री नगर में दुकान खुलने पर कालिंदी विहार में पुलिस व उपाध्याय परिवार के बीच विवाद हुआ था। इसके बाद पीड़ित परिवार को थाने में थर्ड डिग्री दी गयी। महिलाओं को भी पीटा गया। इसके विरोध में कालिंदी विहार पर धरना प्रदर्शन किया। पीड़ित परिवार की मांग थी कि दोषी दरोगा को बर्खास्त किया जाए। आपराधिक धाराओं में‌ मुकदमा दर्ज हो। इस प्रकरण में पीड़ित सर्किट हाउस आए। सांसद प्रो. एसपी सिंह बघेल ने एसएसपी और एसपी सिटी से आरोपी दरोगा के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की बात कही। इस पर अधिकारी ने दरोगा के निलंबन की बात कही। यह सुनकर सांसद ने दो टूक शब्दों में कहा कि निलंबन व लाइन हाजिर कोई कार्रवाई नहीं होती। इस पर एसएसपी  ने कहा कि फिर क्या दरोगा को फांसी पर चढ़ा दें? यह सुनकर सांसद बिफर पड़े।  उन्होंने करीब 20 मिनट तक पुलिस अधिकारी को जमकर खरीखोटी सुनाई। उनका यह रौद्र रूप देखकर हर कई अचंभित रह गया था। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हुआ था।

घटना-3

पंचायत चुनाव के दौरान कलक्ट्रेट आगार में विजेता प्रत्याशियों को प्रमाणपत्र देने में विलम्ब किया जा रहा था। इस पर  भाजपा महानकर अध्यक्ष भानु महाजन समर्थकों के साथ कलक्ट्रेट पहुंचे। उन्होंने एडीएम से कहा कि प्रमाणपत्र शीघ्र दें। यह सुनकर एडीएम आतिथ्य पुष्पराज सिंह का पारा चढ़ गया। विधायक एत्मादपुर रामप्रताप सिंह चौहान के सामने ही झड़प हो गई। एडीएम ने महानगर अध्यक्ष भानु महाजन से कहा-  तू मुझसे बड़ा भाजपाई नहीं है और अभी तेरा नशा उतार दूंगा। विधायक ने हस्तक्षेप कर जैसे-तैसे उस समय दोनों को शांत कर दिया, लेकिन तब तक सारा मामला कैमरों में कैद हो गया था। भाजपाइयों ने हंगामा कर दिया। एडीएम के तबादल की मांग उठी। पूरी पार्टी में किसी की हिम्मत नहीं हुआ कि एडीएम के खिलाफ बोल सके। सांसद एसपी सिंह बघेल ने सोशल मीडिया पर नाराजगी प्रकट की। तत्काल ही पुष्पराज सिंह को एडीएम पद से हटाकर उप आवास आय़ुक्त बना दिया। तब एसपी सिंह बघेल ने कहा था-  कार्यकर्ता और जनता का सम्मान न करने वाले अधिकारी किसी कीमत पर बख्शे नहीं जाएंगे।

Dr. Bhanu Pratap Singh