फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने उस प्रस्ताव पर हस्ताक्षर कर दिया है, जिसमें पेंशन के लिए उम्र सीमा 62 से बढ़ा कर 64 साल कर दी गई.
फ्रांस की शीर्ष संवैधानिक परिषद ने इस बदलाव को मंजूरी दे दी है. संवैधानिक परिषद ने इस मामले पर जनमत सर्वेक्षण कराने की विपक्ष की मांग खारिज कर दी.
काउंसिल के इस फ़ैसले के बाद फ्रांस में विरोध प्रदर्शन और तेज़ हो गया. प्रदर्शनकारियों ने कई जगहों पर आग लगा दी.
हिंसा भड़काने के आरोप में 112 लोगों को गिरफ़्तार किया गया है. फ्रांस में ट्रेड यूनियनों ने सरकार के इस फ़ैसले का विरोध और तेज करने का आह्वान किया है. उन्होंने 1 मई को लोगों से सड़क पर उतरने को कहा है.
राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रों ने तर्क दिया है कि पेंशन सिस्टम को ध्वस्त होने से बचाने के लिए इसमें सुधार ज़रूरी है.
मार्च में सरकार ने एक विशेष संवैधानिक अधिकार का इस्तेमाल करते हुए इस परिवर्तन को लागू किया था.
इसके लिए वोटिंग नहीं की गई. शनिवार की सुबह उन्होंने इस प्रस्ताव पर हस्ताक्षर कर इसे क़ानून में तब्दील कर दिया.
- Birsa Munda Trophy T20 Cricket Championship 2025 - March 6, 2025
- National Dentist Day: Expert’s Advice to Keep Your Smile Bright and Healthy - March 6, 2025
- बांके बिहारी मंदिर की वीआईपी लाइन में हुई रिंग सेरेमनी, वीडियो हुआ वायरल - March 6, 2025