धर्म की आड़ लेकर चाल चल रहे पाकिस्‍तान को भारत ने उसी के जाल में फंसाया

INTERNATIONAL NATIONAL RELIGION/ CULTURE

पिछले दिनों पाकिस्‍तान की ओर से प्रस्‍ताव आया कि श्रद्धालुओं को भारत में हवाई यात्रा की अनुमति दी जाए। दोनों देशों के तल्‍ख रिश्‍तों की वजह से अभी केवल अटारी-वाघा लैंड बॉर्डर और करतारपुर कॉरिडोर के जरिए ही श्रद्धालु आते-जाते हैं। इस प्रस्‍ताव के जरिए इमरान खान की सरकार चाहती है कि भारत उसके तीर्थयात्रियों जिनमें अधिकतर मुस्लिम होंगे, को अजमेर शरीफ, निजामुद्दीन दरगाह समेत कई धर्मस्‍थलों पर जाने की इजाजत दे।

भारत ने जवाबी प्रस्‍ताव में कहा है कि वो बातचीत को तैयार है, मगर और धर्मस्‍थलों को एक-दूसरे के नागरिकों के लिए खोला जाना चाहिए। श्रद्धालुओं के लिए लैंड रूट के अलावा यात्रा के अन्‍य साधनों को शुरू करने पर दोनों देशों के बीच जल्‍द चर्चा हो सकती है। इसमें वह हिंगलाज मंदिर भी शामिल है, जो पाकिस्तान में कट्टरपंथियों के निशाने पर सबसे ज्यादा है। पिछले 22 महीने में इस मंदिर पर 11 हमले हो चुके हैं।
भारत और पाकिस्‍तान के बीच और तीर्थस्‍थलों को खोलने पर बातचीत की सहमति ऐसे वक्‍त बनी है जब दोनों के रिश्‍ते रसातल में हैं। 2019 में पुलवामा आतंकी हमले के बाद दोनों देश युद्ध के कगार पर पहुंच गए थे। भारत और पाकिस्‍तान के बीच यात्रा के अधिकतर साधन बंद हैं।
पाकिस्‍तान ने क्‍या प्रस्‍ताव दिया था?
नई दिल्‍ली में पाकिस्‍तान के मिशन ने हाल ही में विदेश मंत्रालय को पाकिस्‍तान हिंदू काउंसिल (PHC) की तरफ से एक प्रस्‍ताव सौंपा। लाहौर और कराची से श्रद्धालुओं को लेकर पाकिस्‍तान इंटरनैशनल एयरलाइंस (PIA) की दो चार्टर्ड फ्लाइट्स के भारत आने का प्रस्‍ताव रखा गया। PHC के संरक्षक और खान की पार्टी, तहरीक-ए-इंसाफ के सांसद रमेश कुमार वंकवानी के अनुसार दो फ्लाइट्स में करीब 170 पाकिस्‍तानी श्रद्धालु आ जाएंगे जो अजमेर शरीफ, निजामुद्दीन दरगाह व अन्‍य धर्मस्‍थलों पर जाएंगे। उन्‍होंने यह भी सुझाव दिया कि एयर इंडिया की फ्लाइट्स के लिए भारतीय तीर्थयात्री भी पाकिस्‍तान आ सकते हैं और खैबर पख्‍तूनख्‍वा के टेरी गांव में परिहंस महाराज के मंदिर व बलूचिस्‍तान में हिंगलाज माता मंदिर के दर्शन कर सकते हैं।
अभी के प्रोटोकॉल के अनुसार पाकिस्‍तानी श्रद्धालु भारत के पांच मुस्लिम तीर्थस्‍थलों की यात्रा कर सकते हैं। पाकिस्‍तान के 15 धर्मस्‍थल इस लिस्‍ट में शामिल हैं जिनमें से ज्‍यादातर गुरुद्वारे हैं।
भारत ने क्‍या जवाब दिया?
विदेश मंत्रालय के प्रवक्‍ता अरिंदम बागची ने वीकली मीडिया ब्रीफिंग में कहा कि भारत चर्चा को तैयार है। उन्‍होंने कहा कि भारत पाकिस्‍तान के साथ उन धर्मस्‍थलों की सूची के विस्‍तार पर चर्चा को राजी है जहां दोनों देशों के श्रद्धालु 1974 के ‘धार्मिक स्‍थलों की यात्रा के प्रोटोकॉल’ के अनुसार जा सकते हैं। कोविड से जुड़े यात्रा प्रतिबंधों को ध्‍यान में रखते हुए, बागची ने कहा कि यह बातचीत स्थिति सामान्‍य होने से पहले भी हो सकती है। प्रवक्‍ता ने कहा, ‘मैं यह रेखांकित करना चाहता हूं कि इस विषय पर भारत का रुख सकरात्‍मक है और वह पाकिस्‍तानी पक्ष से बातचीत का इच्‍छुक है।’

Dr. Bhanu Pratap Singh