हरिशंकरी वृंदावन

वृंदावन की 4 कोसी परिक्रमा पर हरिशंकरी पौधारोपण के लिए सीमांकन

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सोरों जी और आगरा की शिव परिक्रमा का काम पूर्ण, अब मथुरा की बारी

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Mathura, Uttar Pradesh, India, Bharat. सोरों जी और आगरा की शिव परिक्रमा के बाद मथुरा की 84 कोसी परिक्रमा की सीमांकन काम चल रहा है। हर कोस पर हरिशंकरी का रोपण किया जाएगा। इसे हरिशंकरी माला अभियान नाम दिया गया है।

वत्सले मातृभूमे के संस्थापक अध्यक्ष और भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता भानु प्रताप सिंह चौहान ने बताया कि वृंदावन धाम की 4 कोसी परिक्रमा मार्ग पर हरिशंकरी माला कोस पड़ाव का सीमांकन राजा महेंद्र प्रताप सिंह जी की समाधि स्थल केसी घाट से प्रारंभ किया गया। द्वितीय पड़ाव चैतन्य महाप्रभु बैठक, तृतीय पड़ाव सुखधाम आश्रम बलराम बाबा एवं चतुर्थ पड़ाव परिक्रमा मार्ग जुगल घाट पर पूर्ण हुआ।

श्री सिंह ने बताया कि सुनील सिंह बाबा उपाख्य ब्रजदास महाराज और देवेंद्र आचार्य जी का मार्गदर्शन प्राप्त हुआ। आगरा में 18 कोसी शिव परिक्रमा मार्ग का कोस चिह्नांकन कर दिया गया है। इससे पहले सोरों परिक्रमा मार्ग पर चिह्नांकन किया गया था। यह काम राष्ट्रीय लोक भारती एवं वत्सले मातृभूमे संस्था द्वारा संयुक्त रूप से किया जा रहा है।

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क्या है हरिशंकरी

हरिशंकरी में पाकड़, पीपल और बरगद ये तीन वृक्ष ब्रह्म, विष्णु,  महेश के प्रतिनिधि के रूप में एक ही थाले में रोपित किए जाते हैं। भानु प्रताप सिंह चौहान जन्मतिथि और पुण्यतिथि पर धार्मिक स्थलों पर हरिशंकरी का रोपण पहले से ही कर रहे हैं।

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Dr. Bhanu Pratap Singh