puran dawar

AFI 14 राज्यों के 1500 गांवों में स्वास्थ्य रक्षा का अनुकरणीय कार्य, राष्ट्रीय अधिवेशन शुरू, सर्बानंद सोनोवाल और दिनेश जी करेंगे उद्घाटन

HEALTH

देशभर से 300 कार्यकर्ता आए, अपने कार्य का प्रदर्शन करेंगे

आरोग्य फाउंडेशन ऑफ इंडिया का आगरा में भी शानदार काम

आयोजन समिति के अध्यक्ष पूरन डावर को भामाशाह बताया गया

Agra, Uttar Pradesh, India राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ का आनुषांगिक संगठन एकल अभियान से संबद्ध संस्था आरोग्य फाउंडेशन ऑफ इंडिया (AFI) भारत के 14 राज्यों के 1500 गांवों में अनुकरणीय कार्य कर रही है। यह संस्था स्वास्थ्य के क्षेत्र में कार्य करती है। मुख्य लक्ष्य ग्रामीणों को स्वस्थ रहने के लिए प्रेरित करना है। गांवों में आरोग्य सेविकाएं तैनात हैं, जो बीमार लोगों को चिकित्सक के माध्यम से स्वास्थ्य सेवा प्रदान करती हैं। मोबाइल पैथालॉजी लैब भी चलाई जा रही है। टेलीमेडिसिन से भी चिकित्सा की जा रही है। वनवासियों और ग्रामीणों की सेवा की जा रही है। आरोग्य फाउंडेशन ऑफ इंडिया का राष्ट्रीय अधिवेशन संस्कृति भवन, बाग फरजाना, आगरा में शुरू हो गया है। उद्घाटन करने के लिए 15 अक्टूबर को मुख्य अतिथि के रूप में भारत सरकार के आयुष मंत्री सर्बानंद सोनोवाल आ रहे हैं। विश्व हिन्दू परिषद के मार्गदर्शक बड़े दिनेश जी मुख्य वक्ता होंगे।

यह जानकारी संस्कृति भवन के सभागार में आयोजित प्रेसवार्ता में दी गई। आरोग्य फाउंडेशन के ट्रस्टी और आयोजन समिति के अध्यक्ष पूरन डावर ने बताया कि फतेहपुर सीकरी और एत्मादपुर में फाउंडेशन का प्रकल्प चल रहा है। यह स्वास्थ्य क्षेत्र में कार्य करने वाली संस्था है। टेलीमेडिसिन के माध्यम से सुदूर गांव में बैठे व्यक्ति को सुविधा दे सकते हैं। जो इलाज अमेरिका में वह यहां भी हो सकता है। सही मार्ग दिखाने की जरूरत है। अधिवेशन में 15-16 अक्टूबर को देश के सभी राज्यों के प्रतिनिधि आ रहे हैं।

एकल आरोग्य के मार्गदर्शक और उत्तर-पूर्व के राज्यों में दशकों तक स्वास्थ्य सेवा देने वाले डॉ. मुकुल भाटिया ने बताया वनवासी और ग्रामीण क्षेत्र में स्वास्थ्य सेवाओं का विस्तार देना और लोगों को जागरूक कर रहे हैं। नगरों में तो रोग रोकथाम के उपाय चलते रहते हैं लेकिन ग्रामीण क्षेत्र में समस्या है। देश के 14 राज्यों में  53 संच (एक संच में 30 गांव) हैं। असोम, बंगाल, ओडिशा, झारखंड, उत्तर प्रदेश, महाकौशल, मध्य भारत, राजस्थान, हिमाचल, जम्मू कश्मीर, कर्नाटक, गुजरात, महाराष्ट्र में प्रकल्प चल रहे हैं। तेलंगाना में अगले वर्ष काम शुरू हो जाएगा। इस प्रकल्प की परिकल्पना आज से 22 वर्ष असम में हुई। चाय बागानों की महिलाओं में से कुछ को चुनकर उन्हें आरोग्य प्रशिक्षण दिया गया। हमारा उददेश्य था रोगों की रोकथाम और वनौषधि से इलाज। फिर कुपोषण पर काम शुरू हुआ। 2015 में आरोग्य रिसोर्स सेंटर (एआरसी) बनाए गए। टेलीमेडिसिन हमने शुरू किया तो चिकित्सकों ने विरोध किया। कहा कि ऑनलाइन चिकित्सा देना पाप है परन्तु जब कोरोना आया तो इसकी महत्ता समझ में आई। एकल अभियान के तहत एक लाख विद्यालय चलाए जा रहे हैं। इसी संस्था की विंग एएफआई है।

आयोजन समिति के सदस्य सतीश गुप्ता ने बताया कि व्यक्ति हेल्दी रहेगा तो गरीब नहीं रहेगा। यह संस्था हेल्थ इज वेल्थ के लिए काम कर रही है। प्रतिनिधियों को आगरा के ऐतिहासिक स्थल भी दिखाए जाएंगे।

डॉ. शम्मी कालरा ने बातया कि आरोग्य का मतलब है स्वस्थ रहें ताकि बीमार न हों। इस विषय पर विस्तार से मंथन किया जाएगा। सम्मेलन में 300 प्रतिनिधि भाग लेंगे। अपने अनुभव साझा करेंगे। 13 राज्यों के प्रतिनिधि स्टॉल लगाकर अपने कार्य को दिखाएंगे।

एकल आरोग्य प्रकल्प के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. आरएन मेहता ने बताया कि आरोग्य सेविकाओं को प्रशिक्षित करके उन लोगों को स्वास्थ्य सेवा प्रदान की जा रही है जो किसी भी कारण से चिकित्सक के पास नहीं जा सकते हैं। गांवोँ में रक्तचाप और मधुमेह की बीमारी हो रही है। इनका पता भी गांव स्तर पर लगाया जा रहा है। हमारा उद्देश्य है कि शहर में आने पर गांव के मरीज का शोषण न हो। हम इस बारे में इलाज की पूरी जानकारी भी देंगे।

प्रेसवार्ता में आयोजन समिति कोषाध्यक्ष रामदेव शर्मा भी उपस्थित थे। संचालन करते हुए अमरेश कुमार ने समाजसेवी पूरन डावर को भामाशाह की संज्ञा दी।

puran dawar agra
पत्रकारों को संबोधित करते पूरन डावर।

15 अक्टूबर का कार्यक्रम

11.30 बजेः वनौषधियों का महत्व, नेत्र शिविर अमस, टेलीमेडिसन, पोर्टा क्लीनिक परिचय

1.00 बजेः  भोजन

2.30 बजेः अनुभव कथन प्रशिक्षण विधियां

3.45 बजेः  सेविका संयोजिका के दायित्व, ग्राम सुरक्षा, दायित्व धर्म, जागरण दायित्व, आरोग्य दायित्व, ग्रामाण संगठन दायित्व

5.00 बजेः उद्घाटन सत्र

रात्रि 9.00 बजेः एकल अभियान उद्देश्य, वैचारिक पृष्ठभूमि

रात्रि 10.15 बजेः प्रवास योजना, अभ्यास वर्ग योजना

 

16 अक्टूबर के कार्यक्रम

11.30 बजेः आगामी कार्ययोजना, मासिक और वार्षिक दायित्व

2.00 बजेः समापन सत्र

5.00 बजेः गुरुद्वारा दर्शन

 

17 अक्टूबर के कार्यक्रम

प्रातः 6.00 बजेः मथुरा प्रस्थान

10.00 बजेः बिहारी जी मंदिर दर्शन

अपराह्न 2.00 बजेः ताजमहल भ्रमण

शाम 6.00 बजेः विदाई

 

Dr. Bhanu Pratap Singh