बजट सत्र में नरेंद्र मोदी सरकार का लेखा-जोखा पेश किया राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने, किसानऔर महिलाओं के लिए कामों का जिक्र

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राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने बजट सत्र में आज नरेंद्र मोदी सरकार का लेखा-जोखा पेश किया। राष्ट्रपति ने किसानों के लिए सरकार के कामों का जिक्र किया। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार किसानों को लगातार सशक्त बनाने के लिए काम कर रही है। महिला सशक्तीकरण के लिए महिलाओं के विवाह के लिए न्यूनतम आयु को 18 वर्ष से बढ़ाकर पुरुषों के समान 21 वर्ष करने का विधेयक भी संसद में प्रस्तुत किया है।
1. राष्ट्रपति ने कहा कि कोरोना संकट के बाद के दौर में लोगों के रोजगार की रक्षा करने के लिए सरकार प्रधानमंत्री स्व निधि योजना चला रही है। राष्ट्रपति ने कहा, “Swanidhi योजना हमारे रेहड़ी पटरी वाले भाइयों बहनों के लिए बहुत सहायक साबित हो रही है।”
2. महिला सशक्तिकरण की तरफ सरकार का खास ध्यान है। लड़कियों की शादी की उम्र लड़कों के बराबर होगी। सैनिक स्कूलों में अब लड़कियों का भी नामांकन होता है। तीन तलाक को खत्म किया गया।
3. देश में डिजिटल ट्रांजेक्शन को बढ़ावा देने के सरकार के उपाय सफल साबित हो रहे हैं। राष्ट्रपति ने कहा, “यूपीआई की सफलता के लिए भी मैं सरकार के कदम की प्रशंसा करना चाहता हूं। दिसंबर 2021 में देश में 8,00,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का लेनदेन यूपीआई के माध्यम से हुआ है। इस बात का उदाहरण है कि हमारे देश में डिजिटल ट्रांजेक्शन के रूप में लोगों द्वारा बदलाव और तकनीक को बहुत तेजी से अपनाया जा रहा है।”
4. PM awas योजना के तहत अब तक दो करोड़ लोगों को घर मिला है। इसके साथ ही पिछले 3 वर्षों में करीब डेढ़ लाख करोड़ रुपये की लागत से एक करोड़ 70 लाख घर स्वीकृत किए गए हैं। राष्ट्रपति ने कहा कि कोरोना महामारी की बाधाओं के बावजूद करीब 6 करोड़ ग्रामीणों को पेयजल के कनेक्शन से जोड़ा गया है। इससे हमारे गांव की महिलाओं बहनों-बेटियों को काफी मदद मिली है। ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को उनकी संपत्ति के दस्तावेज देने के लिए शुरू की गई स्वामित्व योजना भी एक असाधारण प्रयास है।
5. राष्ट्रपति ने कहा कि मेरी सरकार ग्रामीण अर्थव्यवस्था और देश के किसानों को सशक्त बनाने के लिए निरंतर काम कर रही है। महामारी के बावजूद साल 2020-21 में हमारे किसानों ने 30 करोड टन से अधिक खाद्यान्न और 33 करोड़ टन से अधिक बागवानी उत्पादों की पैदावार की है। रबी की फसल के दौरान 430 लाख मैट्रिक टन गेहूं की खरीद की गई है जिससे लगभग 50,00,000 किसानों को सीधा फायदा पहुंचा है। केंद्र सरकार के प्रयास से कृषि निर्यात में 25% से अधिक की वृद्धि दर्ज की गई और यह तीन लाख करोड़ रुपये पर पहुंच गया है। राष्ट्रपति ने कहा कि शहद उत्पादन उत्पादन 1,25,000 मेट्रिक टन तक पहुंच गया है जो कि 2014-15 की तुलना में करीब 55% ज्यादा है। जल्द खराब होने वाली खाद्य सामग्री के समयबद्ध परिवहन के लिए 150 से अधिक मार्गों पर उन्नीस सौ से ज्यादा किसान रेल चलाई गई और करीब 6,00,000 मीट्रिक टन खाद्यान्न पहुंचाए गए। छोटे किसान देश की आबादी में 80 फीसदी हिस्सा रखते हैं और इनके लिए मेरी सरकार ने हमेशा प्रयास किया है। प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि के माध्यम से 11 करोड़ से अधिक किसान परिवारों को नकद मदद दी गई है।
6. राष्ट्रपति ने कहा कि कृषि इन्फ्रास्ट्रक्चर को विकसित करने के लिए भी मेरी सरकार अब भूतपूर्व स्तर पर निवेश कर रही है। ₹1,00,000 करोड़ के कृषि यंत्र एवं इंफ्रास्ट्रक्चर फंड के अंतर्गत हजारों परियोजनाओं को मंजूरी दी गई है। मेरी सरकार ने खाद्य तेल में आत्मनिर्भरता को ध्यान में रखते हुए हजारों करोड़ रुपये की लागत से कई पहल की है।
7. सरकार वर्षा जल संरक्षण के लिए भी गंभीरता से काम कर रही है। देश में रेन वाटर हार्वेस्टिंग इंफ्रास्ट्रक्चर के निर्माण और पारंपरिक जल स्रोतों के जीर्णोद्धार के लिए विशेष अभियान चलाए जा रहे हैं। प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना की मदद से देश में 64 लाख हेक्टेयर जमीन तक पानी पहुंचाया गया है।
8. 45,000 करोड़ रुपये की लागत से पूरी होने वाली केन बेतवा लिंक परियोजना से इलाके को काफी मदद मिल सकती है। बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ पहल से अनेक सकारात्मक परिणाम सामने आए और स्कूलों में प्रवेश लेने वाली बेटियों की संख्या में उत्साहजनक वृद्धि हुई है। सरकार ने महिलाओं के उत्थान के लिए कई कदम उठाये हैं और पुरुषों के समान सैनिकों ने बालिकाओं को प्रवेश देना भी शुरू कर दिया है।
9. पुलिस बलों में महिला पुलिसकर्मियों की संख्या में 2014 के मुकाबले दोगुनी से ज्यादा बढ़ोतरी हो चुकी है। विदेशी निवेश में तेज वृद्धि इस बात का प्रमाण है कि सरकार की कोशिश रंग ला रही है। विदेशी मुद्रा भंडार भी इस समय $630 अरब से ऊपर है। भारत से निर्यात भी बढ़ रहा है और पिछले रिकॉर्ड को पार कर चुका है। साल 2021 में अप्रैल से दिसंबर के दौरान भारत का निर्यात लगभग 300 अरब डॉलर से अधिक रहा है।
10. इलेक्ट्रॉनिक टेक्नोलॉजी हार्डवेयर के क्षेत्र में ग्लोबल लीडर बने, इसके लिए सरकार ने सिलिकॉन और कंपाउंड सेमीकंडक्टर, फैब्रिकेशन, डिस्प्ले, चिप डिजाइन और इनसे जुड़े वेंचर्स के लिए हाल ही में कई हजार करोड़ रुपये का पैकेज भी घोषित किया है। मेरे सरकार नए क्षेत्रों के साथ-साथ पारंपरिक क्षेत्रों में भी देश की स्थिति को पुनः मजबूत बना रही है। सरकार द्वारा वस्तुओं के विकास के लिए करीब ₹4500 के निवेश से 7 मेगा इंटीग्रेटेड टैक्सटाइल रीजन बनाने का फैसला किया गया है। इस तरह के रीजन भारतीय तथा विदेशी निवेशकों को भी आकर्षित करेंगे और रोजगार के नए अवसर पैदा करेंगे।
हमारे एसएमई हमारी अर्थव्यवस्था की रीढ़ रहे हैं और आत्मनिर्भर भारत को गति प्रदान करते रहे हैं। कोरोना काल में एसएमई को कोरोना संकट से बचाने और जरूरी क्रेडिट उपलब्ध कराने के लिए सरकार ने 3,00,000 करोड रुपये के कॉलेटरल फ्री लोन की व्यवस्था की। इसके साथ ही देश के उद्योगों के लिए सरकार तीन लाख करोड़ रुपये की गारंटी को बढ़ाकर 4.5 लाख करोड़ रुपये कर चुकी है। आजादी की लड़ाई में खादी बापू की चेतना का प्रतीक रही थी, एक बार फिर सरकार के प्रयासों से साल 2014 की तुलना में देश में खादी की बिक्री 3 गुना बढ़ी है।
राष्ट्रपति ने कहा कि देश में रेलवे हाईवेज और एयरवेज अलग-अलग और इंफ्रास्ट्रक्चर नहीं होंगे बल्कि देश के एकजुट संसाधन के तौर पर काम करेंगे। ग्रामीण क्षेत्रों में प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना की मदद से काफी सुविधा हुई है। देश के दुर्गम इलाके की सड़कों को ऑल वेदर रोड कनेक्टिविटी से जोड़ा गया।
रामनाथ कोविंद ने कहा, “इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास से आज जहां एक और विकास के नए रास्ते खुल रहे हैं तो वहीं दूसरी ओर इससे देश की सुरक्षा को भी नई ताकत मिल रही है।”

Dr. Bhanu Pratap Singh