आचार्य श्री विश्व रत्न सागर ने आगरा के जैन समाज को झकझोरा, परमात्मा को कैदखानों से मुक्त कराओ, एक रुपया से लेकर करोड़ों रुपये की जरूरत है तो मुझे बताओ

ऋग्वेद के अनुसार जैन धर्म प्राचीनतम लेकिन पंथवाद और गच्छवाद ने खोखला कर दिया हैः आचार्य श्री विश्व रत्न सागर महाराज धर्म का म मोक्ष और धन का न नरक का प्रतीक, धन-धन करते एक दिन निधन हो जाता हैः कीर्ति रत्न सागर महाराज जीवन की गाड़ी धर्म के बिना नहीं चलती, गुरु का साथ … Continue reading आचार्य श्री विश्व रत्न सागर ने आगरा के जैन समाज को झकझोरा, परमात्मा को कैदखानों से मुक्त कराओ, एक रुपया से लेकर करोड़ों रुपये की जरूरत है तो मुझे बताओ